चमत्कार: 16 दिन के बच्चे की ओपन हार्ट सर्जरी
सोलह दिन के एक बच्चे को फोर्टिस अस्पताल ने नया जीवन दिया है। सिर्फ 1.8 किलोग्राम वजनी शिशु को जटिल ओपन हार्ट सर्जरी से गुजरना पड़ा।
करीब 8.30 घंटे तक चली सर्जरी के बाद बच्चा पूरी तरह तंदरुस्त है। बच्चे के परिवार वाले अब काफी खुश हैं।
बच्चे को नया जीवन देने में डॉ. टीएस महंत की अगुवाई वाली सीटीवीएस टीम ने अहम भूमिका निभाई।
दुनिया में इस बेजोड़ सर्जरी को मासूम के डिस्टल ऑर्टोप्यूलमनरी विंडो, प्रॉक्सिमल ऑर्टोप्यूलमनरी विंडो और कॉरोनरी आर्टरी एनोमलीज नामक जटिलताओं से ग्रस्त होने के कारण अंजाम दिया गया। सर्जरी के बाद उम्मीद की जा रही है कि मासूम अब सामान्य तौर पर लंबी जिंदगी जी पाएगा।
इसके बाद सर्जरी का फैसला लिया गया। 16 दिन की उम्र में बच्चे को जटिल सर्जरी से गुजरना पड़ा। सर्जरी करने में करीब 8.30 घंटे का समय लगा।
बच्चे का दिल सिर्फ 1.5 इंच का होता है। उन्होंने बताया कि बच्चा दिल की तीन बीमारियों से एक साथ ग्रस्त था। ऐसे में ऑपरेशन करना काफी मुश्किल था। बच्चे के दिल से निकलने वाली दो बड़ी वैसल्स के बीच बड़ा अंतर मौजूद है। जिसे डाक्टरी भाषा में ऑर्टोप्यूलमनरी विंडो के नाम से जाना जाता है।
यह दिल की वाकई बड़ी बीमारी थी। जो सभी मामलों में से सिर्फ 0.1 फीसदी मरीजों में ही पाई जाती है। इससे हार्ट मसल्स तक पहुंचने वाले रक्त में बाधा आती है। यह ऑक्सीजन एवं अन्य पौष्टिक तत्वों की आपूर्ति में बाधक बनती है। इससे होने वाला हार्ट अटैक घातक हो सकता है।’
बच्चे के माता-पिता सुमन व नीरज हिमाचल प्रदेश में मंडी के रहने वाले हैं। परिवार वालों ने बताया कि बच्चे के दिल का ऑपरेशन 16 जनवरी, 2014 को कर दिया गया। तब वह मात्र 16 दिनों का था। बच्चा अब तंदरुस्त है।